Ramayana movie

Ramayana movie: रामायण की दिव्यता से प्रभावित हुए मुख्यमंत्री फडणवीस, कहा – भारतीय संस्कृति की सच्ची प्रस्तुति

Ramayana movie: भारतीय सिनेमा एक बार फिर इतिहास रचने की तैयारी में है। निर्देशक नितेश तिवारी की आगामी फिल्म ‘रामायण’ को लेकर देशभर में उत्सुकता चरम पर है। यह फिल्म सिर्फ एक सिनेमाई अनुभव नहीं, बल्कि भारतीय संस्कृति और आस्था का प्रतीक बनती जा रही है। इस महाकाव्य पर आधारित फिल्म को लेकर जहां दर्शक लंबे समय से इंतज़ार कर रहे हैं, वहीं अब इसे लेकर पहली प्रतिक्रिया आई है महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की ओर से। उन्होंने इस फिल्म की गुणवत्ता और उसकी भव्यता की खुलकर तारीफ की है।

रामायण: आस्था और कला का अद्वितीय संगम

‘रामायण’ भारतीय सभ्यता की आत्मा है। यह न केवल धार्मिक ग्रंथ है बल्कि एक जीवन दर्शन भी है, जिसे हर भारतीय ने किसी न किसी रूप में आत्मसात किया है। नितेश तिवारी ने इस अमर गाथा को आधुनिक तकनीक और उत्कृष्ट कलाकारों के साथ जीवंत करने का बीड़ा उठाया है। फिल्म को दो भागों में रिलीज़ किया जाएगा — पहला भाग दिवाली 2026 और दूसरा दिवाली 2027 में। फिल्म निर्माताओं ने इसे ‘सबसे पवित्र और प्रामाणिक रामायण’ के रूप में प्रस्तुत करने का दावा किया है।

मुख्यमंत्री फडणवीस की प्रतिक्रिया: “सांस्कृतिक धरोहर को सम्मान”

हाल ही में एक सार्वजनिक कार्यक्रम में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने फिल्म के कुछ फुटेज देखने के बाद अपने विचार साझा किए। उन्होंने कहा कि “रामायण जैसे विषय को इतनी निष्ठा, भव्यता और संवेदनशीलता के साथ प्रस्तुत करना न केवल चुनौतीपूर्ण था, बल्कि बेहद जरूरी भी था। यह फिल्म हमारी सांस्कृतिक विरासत का सम्मान करती है और इसे देखने के बाद मन में श्रद्धा जागृत होती है।” मुख्यमंत्री की यह प्रतिक्रिया फिल्म के निर्माताओं और दर्शकों के लिए बेहद उत्साहजनक रही है।

एक दमदार स्टारकास्ट

इस फिल्म की सबसे बड़ी खासियत है इसकी स्टारकास्ट, जो बेहद सोच-समझकर चुनी गई है। हर किरदार में वही अभिनेता नजर आएंगे जो उसकी आत्मा को सजीव कर सकें।

  • रणबीर कपूर — भगवान राम के रूप में: रणबीर कपूर अपने शांत और संयमी स्वभाव के लिए जाने जाते हैं और यही गुण उन्हें इस भूमिका के लिए परफेक्ट बनाते हैं। उनका लुक, उनकी बॉडी लैंग्वेज और उनके हावभाव राम के चरित्र को वास्तविक बनाते हैं।
  • साई पल्लवी — सीता माता के रूप में: साई पल्लवी की मासूमियत और गरिमा उन्हें इस पवित्र किरदार के लिए उपयुक्त बनाती है। उनकी आंखों में जो भावनाएं हैं, वही सीता के त्याग और प्रेम को दर्शाती हैं।
  • यश — रावण के रूप में: ‘केजीएफ’ फेम यश अब एक नए अवतार में नजर आएंगे। रावण एक शक्तिशाली लेकिन जटिल किरदार है और यश ने इसे अपने अंदाज़ में जीवंत किया है। उनका लुक और संवाद अदायगी लोगों को चौंकाने वाली है।
  • सनी देओल — हनुमान के रूप में: देओल की ऊर्जा और दृढ़ता हनुमान के किरदार में जान फूंक देती है। उनके द्वारा निभाया गया यह रोल अब तक का सबसे यादगार प्रदर्शन हो सकता है।
  • लारा दत्ता — कैकेयी के रूप में: इस किरदार में लारा का ग्रेस और गंभीरता देखने लायक है।
  • अरुण गोविल — दशरथ के रूप में: रामानंद सागर की ‘रामायण’ में राम की भूमिका निभा चुके अरुण गोविल अब दशरथ की भूमिका में नजर आएंगे। यह एक बेहद भावनात्मक और प्रतीकात्मक कास्टिंग है।
  • रवि दुबे — लक्ष्मण के रूप में: रवि दुबे की अभिनय क्षमता लक्ष्मण के समर्पण और जुनून को बखूबी व्यक्त करती है।
  • शेबा चड्ढा — मंथरा के रूप में: एक नकारात्मक किरदार को इतनी गहराई से निभाना आसान नहीं होता, लेकिन शैबा इसमें सफल होती हैं।

तकनीकी पक्ष: भारत की सबसे महंगी फिल्म

‘रामायण’ का निर्माण बजट लगभग ₹835 करोड़ तक बताया जा रहा है, जो इसे अब तक की सबसे महंगी भारतीय फिल्म बनाता है। इस फिल्म में ऑस्कर-विजेता वीएफएक्स कंपनी DNEG का भी सहयोग है, जो इसे विश्वस्तरीय दृश्यात्मक अनुभव में बदलने में मदद कर रही है।

मुंबई के अक्सा बीच और दहिसर स्टूडियो में युद्ध दृश्य और जंगल के दृश्य फिल्माए गए हैं। इसके लिए बड़े स्तर पर लाइव एक्शन और ग्रीन स्क्रीन तकनीक का उपयोग किया गया है। फिल्म के बैकग्राउंड स्कोर से लेकर कॉस्ट्यूम डिज़ाइन तक, हर पहलू को ऐतिहासिक सटीकता के साथ तैयार किया गया है।

सांस्कृतिक संवेदनशीलता को रखा गया प्राथमिकता पर

‘रामायण’ जैसी धार्मिक और सांस्कृतिक महाकाव्य पर फिल्म बनाना आसान काम नहीं है। ‘आदिपुरुष’ जैसी फिल्मों को हुई आलोचना से सबक लेते हुए, नितेश तिवारी और उनकी टीम ने विशेष रूप से ध्यान रखा है कि किसी भी धार्मिक भावना को ठेस न पहुंचे। फिल्म की स्क्रिप्ट वाल्मीकि रामायण पर आधारित है, और इसे पूरी तरह से श्रद्धा और सम्मान के साथ प्रस्तुत किया गया है।

निर्देशक तिवारी ने कहा है कि उन्होंने इस प्रोजेक्ट को ‘एक जिम्मेदारी’ के तौर पर लिया है। वे मानते हैं कि यह फिल्म न केवल मनोरंजन का साधन है, बल्कि भारतीय संस्कृति को नई पीढ़ी तक पहुंचाने का एक माध्यम भी है।

एक नई शुरुआत की ओर

‘रामायण’ सिर्फ एक फिल्म नहीं बल्कि एक आंदोलन बन सकती है — जहां मनोरंजन, इतिहास, और श्रद्धा एक साथ मिलते हैं। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की सराहना इस बात का प्रमाण है कि फिल्म न केवल दर्शकों बल्कि समाज के नेतृत्वकर्ताओं पर भी गहरी छाप छोड़ने में सफल हो रही है।

इस फिल्म की रिलीज़ के बाद यह देखना दिलचस्प होगा कि दर्शकों की प्रतिक्रिया क्या रहती है, लेकिन अब तक जो प्रतिक्रियाएं सामने आई हैं, वे इस बात का संकेत देती हैं कि ‘रामायण’ एक ऐतिहासिक फिल्म साबित हो सकती है।


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