आगामी केंद्रीय Budget 2025 से ऑटोमोबाइल सेक्टर को कई अहम सुधारों की उम्मीद है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण 1 फरवरी 2025 को बजट पेश करेंगी, और उद्योग जगत को इस बार वाहन स्क्रैपिंग, ग्रीन मोबिलिटी और जीएसटी दरों में राहत जैसे मुद्दों पर बड़े ऐलानों की आस है। आइए जानते हैं, इस बार ऑटो सेक्टर की मुख्य उम्मीदें क्या हैं।

PLI स्कीम में संभावित विस्तार

सरकार से उम्मीद है कि वह प्रोडक्शन-लिंक्ड इंसेंटिव (PLI) स्कीम का विस्तार करेगी। खासकर, इलेक्ट्रिक वाहन (EV) कंपोनेंट्स और एडवांस बैटरी निर्माण के लिए प्रोत्साहन देने की संभावना है। इससे भारत को ईवी उत्पादन में वैश्विक केंद्र बनाने और पर्यावरण के अनुकूल परिवहन समाधानों को बढ़ावा देने में मदद मिलेगी।

हाइब्रिड और इलेक्ट्रिक वाहनों पर जीएसटी में कमी

ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री लगातार मांग कर रही है कि हाइब्रिड और इलेक्ट्रिक वाहनों पर जीएसटी की दर को 28% से घटाकर 18% किया जाए। इससे ग्रीन मोबिलिटी को अपनाने की प्रक्रिया तेज होगी और सरकार के स्थायी भविष्य के विजन को बल मिलेगा।

वाहन स्क्रैपिंग पॉलिसी को बढ़ावा

पुराने और प्रदूषण फैलाने वाले वाहनों को हटाने के लिए वाहन स्क्रैपिंग पॉलिसी में सुधार की संभावना है। बजट 2025 में इस दिशा में नई योजनाओं और प्रोत्साहनों की घोषणा हो सकती है। इससे नए वाहनों की मांग में बढ़ोतरी होगी और पर्यावरण पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा।

हाइड्रोजन ईंधन और चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर

हाइड्रोजन ईंधन तकनीक पर रिसर्च और एडवांस मोबिलिटी समाधानों को बढ़ावा देने के लिए बजट में विशेष प्रोत्साहन की उम्मीद है। साथ ही, देशभर में इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए मजबूत चार्जिंग इंफ्रास्ट्रक्चर के विकास को लेकर भी घोषणाएं हो सकती हैं।

ऑटो सेक्टर के लिए क्या होगा खास?

बजट 2025 में अगर सरकार ऑटोमोबाइल सेक्टर की इन उम्मीदों को पूरा करती है, तो न केवल उद्योग को बढ़ावा मिलेगा, बल्कि ग्रीन मोबिलिटी की दिशा में भी भारत बड़ी छलांग लगाएगा। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि निर्मला सीतारमण का बजट ऑटो सेक्टर की इन उम्मीदों पर कितना खरा उतरता है।

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