Covid-19 returns

Covid-19 returns: भारत में फिर से बढ़ रहा है कोरोना का संकट, सक्रिय मामले 4,000 के करीब

Covid-19 returns: भारत में एक बार फिर से COVID-19 की वापसी ने लोगों की चिंताओं को बढ़ा दिया है। पिछले कुछ महीनों से जब महामारी की रफ्तार धीमी पड़ी थी, तब लग रहा था कि देश अब राहत की ओर बढ़ रहा है। लेकिन अब जो आंकड़े सामने आ रहे हैं, वे फिर से सावधानी और सतर्कता की ज़रूरत की ओर इशारा कर रहे हैं। 2 जून 2025 तक देश में COVID-19 के सक्रिय मामलों की संख्या 3,961 तक पहुंच गई है, जो कि एक चिंताजनक संकेत है।

पिछले 24 घंटों में देश में 566 नए सक्रिय केस दर्ज किए गए हैं, और चार नई मौतें भी दर्ज की गई हैं। इनमें दिल्ली, महाराष्ट्र, तमिलनाडु और केरल से एक-एक मौत शामिल है। ऐसे में सवाल उठ रहा है: क्या हम एक बार फिर से एक नए संक्रमण की लहर की ओर बढ़ रहे हैं?

राज्यवार स्थिति: किस राज्य में कितने केस?

दिल्ली में 47 नए मामले सामने आए हैं, जिससे यहां कुल सक्रिय मामलों की संख्या 483 हो गई है। यह आंकड़ा पिछले कुछ हफ्तों की तुलना में काफी अधिक है और राजधानी में सतर्कता बढ़ाने की जरूरत को दर्शाता है।

महाराष्ट्र में 59 नए मामले दर्ज किए गए हैं, जिनमें से 20 अकेले मुंबई से हैं। राज्य में सक्रिय केसों की कुल संख्या 494 तक पहुंच गई है। मुंबई जैसे महानगर में संक्रमण का बढ़ना हमेशा ही गंभीर चिंता का कारण रहा है, क्योंकि यहां जनसंख्या घनत्व अधिक है और संक्रमण तेजी से फैल सकता है।

केरल, जो पहले भी महामारी के दौरान एक बड़ा हॉटस्पॉट रहा है, इस बार भी सबसे अधिक प्रभावित राज्य बनकर सामने आया है। राज्य में सक्रिय मामलों की संख्या 1,435 तक पहुंच चुकी है। यह भारत के कुल सक्रिय मामलों का लगभग 36 प्रतिशत है।

कर्नाटक में 87 नए संक्रमण दर्ज किए गए हैं, और कुल सक्रिय मामलों की संख्या अब 311 हो चुकी है। राज्य सरकार ने स्वास्थ्य सेवाओं को सतर्क रहने के निर्देश दिए हैं।

पश्चिम बंगाल में 44 नए मामलों के साथ सक्रिय मरीजों की संख्या 331 हो गई है। बंगाल में ग्रामीण इलाकों से भी संक्रमण के मामले आने लगे हैं, जो कि पहले कम देखा गया था।

नई मौतें और उनकी जानकारी

COVID-19 से जुड़ी चार नई मौतें सामने आई हैं, जो यह बताती हैं कि वायरस अभी भी जानलेवा साबित हो सकता है, खासकर उन लोगों के लिए जो पहले से किसी गंभीर बीमारी से पीड़ित हैं।

दिल्ली में 22 वर्षीय एक महिला की मौत हुई, जिन्हें पहले से फेफड़ों से जुड़ी बीमारी थी। तमिलनाडु में 25 वर्षीय युवक की मृत्यु हुई, जो अस्थमा और किडनी की समस्या से जूझ रहे थे। महाराष्ट्र में 44 वर्षीय व्यक्ति की मृत्यु हुई, जिनमें गंभीर श्वसन संक्रमण के लक्षण थे। केरल में एक व्यक्ति की मौत हुई है, जिसकी पहचान अभी सार्वजनिक नहीं हुई है।

यह आंकड़े स्पष्ट करते हैं कि COVID अब भी कमज़ोर इम्यून सिस्टम वाले लोगों के लिए घातक साबित हो सकता है।

वायरस का नया रूप: वेरिएंट NB.1.8.1 का खतरा

विशेषज्ञों के अनुसार, इस बार जो केस बढ़ रहे हैं, उनका संबंध Omicron के एक नए सब-वेरिएंट NB.1.8.1 से है। यह वेरिएंट अधिक संक्रामक बताया जा रहा है, हालांकि फिलहाल इसके कारण होने वाले लक्षण हल्के हैं।

इसके साथ ही यह भी देखने को मिल रहा है कि पहले लगाए गए वैक्सीन डोज़ की प्रभावशीलता समय के साथ कम हो रही है, जिससे पहले टीका लगवा चुके लोग भी अब संक्रमित हो रहे हैं।

जनता में लापरवाही भी बनी वजह

स्वास्थ्य विशेषज्ञों का मानना है कि लोग अब मास्क पहनना बंद कर चुके हैं, सामाजिक दूरी का पालन नहीं कर रहे, और थोड़ी सी भी सर्दी-खांसी को नजरअंदाज कर रहे हैं। यही कारण है कि संक्रमण फिर से धीरे-धीरे फैल रहा है।

सरकारी तैयारियाँ और आम जनता को सलाह

केंद्र और राज्य सरकारें स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं। अस्पतालों में बेड, ऑक्सीजन और दवाओं की उपलब्धता सुनिश्चित की जा रही है। कई राज्यों ने चिकित्सा कर्मचारियों को अलर्ट पर रखा है, ताकि यदि अचानक मरीजों की संख्या बढ़े तो व्यवस्थाएँ तैयार रहें।

स्वास्थ्य मंत्रालय ने निम्नलिखित सुझाव दिए हैं:

क्या करें

  • सार्वजनिक स्थानों पर मास्क पहनें
  • हाथों की नियमित सफाई करें
  • बुजुर्गों और बीमार लोगों को विशेष ध्यान दें
  • यदि कोई लक्षण दिखे तो तुरन्त डॉक्टर से परामर्श लें और कोविड टेस्ट कराएं

क्या न करें

  • लक्षणों को नजरअंदाज न करें
  • भीड़भाड़ वाली जगहों पर बिना मास्क जाएं
  • अफवाहों पर भरोसा न करें। केवल विश्वसनीय स्रोतों से ही जानकारी प्राप्त करें

सकारात्मक पहलू: अधिकांश मामले हल्के

हालांकि सक्रिय मामलों की संख्या में बढ़ोतरी हो रही है, लेकिन राहत की बात यह है कि अधिकांश संक्रमित लोग हल्के लक्षणों के साथ घर पर ही ठीक हो रहे हैं। अस्पताल में भर्ती होने की आवश्यकता अभी तक बहुत कम मामलों में ही देखने को मिल रही है।

इसके अलावा, भारत में स्वास्थ्य सेवाएँ अब पहले की तुलना में अधिक तैयार और सक्षम हैं। डॉक्टरों, नर्सों और फ्रंटलाइन वर्कर्स को पहले से बेहतर प्रशिक्षण और संसाधन उपलब्ध हैं।

सतर्क रहें, भयभीत नहीं

COVID-19 की यह नई लहर पिछली लहरों की तरह घातक नहीं दिख रही है, लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि हम इसे हल्के में लें। सावधानी और ज़िम्मेदारी अभी भी सबसे महत्वपूर्ण हथियार हैं।

हमें याद रखना चाहिए कि महामारी अभी पूरी तरह से खत्म नहीं हुई है। अगर हम सब मिलकर एक बार फिर सतर्क रहें, तो इस बार भी हम इस संकट को हरा सकते हैं।

अधिक समाचारों के लिए पढ़ते रहें जनविचार।

Admin

Kiran Mankar - Admin & Editor, Jana Vichar.Kiran manages and curates content for Jana Vichar, a platform dedicated to delivering detailed, trending news from India and around the world. Passionate about journalism, technology, and the evolving landscape of human relationships, Kiran ensures that every story is engaging, insightful, and relevant. With a focus on accuracy and a human-centered approach, Kiran strives to keep readers informed with meaningful news coverage.

View all posts by Admin →

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *